नर्मदापुरम विधानसभा सीट पर होगा घमासान या होगी नूराकुश्ती ? – इं बी बी आर गाँधी ,इटारसी

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नर्मदापुरम विधानसभा सीट पर होगा घमासान या होगी नूराकुश्ती ?

भाजपा और कांग्रेस ने नर्मदापुरम जिले की चारों विधानसभा सीटों के लिए अपने प्रत्याशी घोषित कर दिया हैं। भाजपा ने सभी पुराने विधायकों पर फिर से भरोसा जताया है जबकि कांग्रेस ने सभी नए चेहरों को टिकट दी है। कांग्रेस की सभी चारों विधानसभा प्रत्याशियों की घोषणा हो जाने पर कार्यकर्ताओं ने गुस्सा दिखाया है।
कांग्रेस चाहती है कि अब उन्हीं चेहरों पर दांव लगाया जाए जिनकी जीतने कि सम्भावना प्रबलतम है। इसलिए पार्टी ने प्रदेश के शीर्ष नेताओं दिग्विजय सिंह और कमलनाथ की आपसी सहमति को तवज्जो दी है। इससे पहले जारी हुई 130 प्रत्याशियों की लिस्ट में 100 पर कांग्रेस की जीत की गारंटी मानी जा रही है वहीँ फाइनल जारी लिस्ट में भी कांग्रेस ने फूंक फूंक कर प्रत्याशियों की घोषणा की है। इन सबको यदि सही माना जाए तो कांग्रेस इस बार मध्य प्रदेश में सरकार बनाने जा रही है वहीँ भाजपा ने अधिकांश उन्हीं पर भरोसा दिखाया है जो पहले से पार्टी विधायक हैं। मात्र कुछेक सीट है जिन पर केन्द्रीय नेताओं को जीत के लिए मैदान पर उतारा है।
हो सकता है कि कुछेक नामों में परिवर्तन दोनों पार्टियाँ कर सकती हैं लेकिन सरकार उनकी ही बनेगी इस बात को लेकर आश्वस्त हैं। वहीँ देश के दो प्रमुख राज्यों में काबिज एक छोटी लेकिन महत्वपूर्ण बन चुकी राजनैतिक पार्टी आप भी प्रदेश में कई सीटों के लिए अपने प्रत्याशियों की घोषणा कर चुकी है। भविष्य में आप और कितनी सीटों पर चुनाव लड़ने वाली है ये भविष्य ही तय करेगा।
बात वापस नर्मदापुरम जिले की चार विधानसभा सीटों में विस क्षेत्र 137 में घोषित प्रत्याशियों की करते हैं। नर्मदापुरम का सबसे बड़ा राजनीतिक घराना जिसे लोग बगीचा के नाम से भी जानते हैं के पास दोनों प्रमुख पार्टियों की टिकट हैं। एक वर्तमान विधायक डॉ सीतासरन शर्मा भाजपा से पुनः प्रत्याशी घोषित किये हैं वहीँ भाजपा से ही इसी सीट पर दो बार रहे विधायक पंडित गिरिजाशंकर शर्मा बीते माह अपने सैंकड़ों समर्थकों के साथ कांग्रेस में शामिल हुए और अब इससे सीट से कांग्रेस के घोषित प्रत्याशी हुए हैं, इन दोनों के बीच चुनावी समर की चर्चा अब सबसे ऊपर है। यानि कि पार्टी कोई भी जीते विधायक बगीचे का ही रहेगा। हालाँकि ये चर्चा होने लगी है कि कांग्रेस पंडित गिरिजाशंकर शर्मा को जिले की अन्य किसी सीट यानि सिवनी मालवा या सोहागपुर चुनाव लड़ने भेजा जा सकता है क्योंकि इन दोनों विधानसभा क्षेत्रों में भी शर्मा परिवार की अच्छी खासी पैठ है, इसलिए ये संभव है कि अब तक वर्षों से जहाँ कांग्रेस को शिकस्त मिलती रही है वहां से सीट निकल सकती है। हालाँकि हाल में जिन नामों की घोषणा कांग्रेस कर चुकी है उनके नामों में बदलाव हुआ तो घोषित प्रत्याशियों के समर्थक चुनाव में उदासीनता ओढ़ लेंगे।
और अगर पंडित गिरिजाशंकर शर्मा को सोहागपुर या सिवनी मालवा भेजा गया तो पहले से अपनी जमीन तैयार कर रहे संजय गोठी के नाम की घोषण हो सकती है वहीँ कांग्रेस के एक और कद्दावर नेता मानक अग्रवाल जो पहले डॉ शर्मा से हार चुके हैं वो अपनी हार का बदला लेने की मंशा के साथ कांग्रेस के अगले प्रत्याशी घोषित किये जा सकते हैं। लेकिन यदि ऐसा हुआ और विलम्ब के साथ हुआ तो इस क्षेत्र की सीट डॉ शर्मा जीत कर भाजपा की झोली में डालकर अजेय योद्धा के रूप में सामने होंगे।
बहरहाल चाहे कुछ भी हो इस विधानसभा सीट के लिए दोनों पार्टियों ने दो सगे भाइयों को अपना प्रत्याशी घोषित करके सबको चौंका दिया है और देश की सबसे हॉट सीट बना दिया है। मतदाता को क्या करना है वो मतदाता जाने लेकिन मीडिया और कार्यकर्ताओं के लिए हर दिल मगजमारी का होने वाला है।

इं बी बी आर गाँधी
स्वतंत्र पत्रकार एवं सामाजिक कार्यकर्त्ता
इटारसी

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