वनराज की मृत्यु पर विशेष जांच कमेटी बनाए प्रदेश सरकार – प्रमोद पगारे

वनराज की मृत्यु पर विशेष जांच कमेटी बनाए प्रदेश सरकार

इटारसी ।
मध्यप्रदेश के नर्मदा पुरम जिले में देश के महत्वपूर्ण सतपुड़ा टाइगर रिजर्व के चूरना रेंज के अंतर्गत डबरा देव वीट में 26 जून को जो टाइगर मृत मिला था। उसका गर्दन के ऊपर का हिस्सा नहीं था और यह भी बताया जा रहा है कि उसका प्राइवेट पार्ट भी कटा हुआ था। सतपुडा टाइगर रिजर्व पर केंद्र और प्रदेश की सरकार करोड़ों रुपया खर्च करती है। यहां तक कि वहां से इंसानों को भी हटा दिया गया है। 18 गांव विस्थापित किए गए ।ताकि जानवरों को खुला माहौल मिल सके। जिन अधिकारियों की जिम्मेदारी है कि वह वाइल्डलाइफ की सुरक्षा करें उन्होंने निश्चित ही घोर तम लापरवाही की है। उनको इसके लिए दंड दिया जाना चाहिए।
मध्य प्रदेश की सरकार को वनराज की मृत्यु पर एक विशेष जांच कमेटी बनाना चाहिए ताकि वस्तुस्थिति स्पष्ट हो सके। सतपुडा टाइगर रिजर्व में एक व्यक्ति बिना अनुमति के नहीं जा सकता। वहां शिकारियों ने कैसे प्रवेश किया। किसकी मिलीभगत थी। विभाग के उन कर्मचारियों के मोबाइल नंबर ट्रेस किए जाने चाहिए। उस समय की मोबाइल लोकेशन भी ली जानी चाहिए।
नर्मदापुरम जिले में यह गंभीर घटना है और वन्य जीव प्रेमी दुखी हुए हैं। निश्चित ही सुरक्षा के छाते में सेंध लगी है। कभी भी वरिष्ठ अधिकारियों पर कोई आंच नहीं आती है छोटे कर्मचारी को ही परेशान किया जाता है। वन्य जीव में वनराज की मृत्यु पर वरिष्ठ अधिकारियों पर कठोरतम कार्रवाई राज्य की सरकार को करना चाहिए। राज्य सरकार जांच समिति बनाए और जांच होने तक जिम्मेदार अधिकारीयो को सतपुड़ा टाइगर रिजर्व की जवाबदारी से मुक्त किया जाना चाहिए। सतपुडा टाइगर रिजर्व ने मृत शेर का शव परीक्षण भी कराया है। उसके विसरे को जबलपुर भेजा गया है। शेर का अंतिम संस्कार भी कर दिया गया है। पर इतना करने से ही बात समाप्त नहीं होगी । इस मामले में उच्च स्तरीय जांच की आवश्यकता है ,जो की जानी चाहिए।

प्रमोद पगारे
वरिष्ठ पत्रकार,इटारसी

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