काव्य भाषा : वो कौन चित्रकार है – डॉ ब्रजभूषण मिश्र भोपाल

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वो कौन चित्रकार है

वो चतुर, होशियार है
वो पालन हार है
रचे जीव, रंग भरे
देता, विविध आकार है
वो कौन, चित्रकार है

तितलियाँ, फूल सी लगें
कीट लगें, हरे ,पत्र से
चिड़ियां, दिखें ,सजी हुई
करता वो, उनका सिंगार है
वो कौन ,चित्रकार है

कहीं जीव, स्वर्ण से
कुछ,सजी रोशनी से ,दमकें
कुछ लगें ,रंगीं कूचियों, जैसे
प्रकृति में, वो भरता,निखार है
वो कौन चित्रकार ,है

जीवन मे भरता, संगीत वो
कविता को, करता, गीत वो
धुन, पवन सी, लहराती है
नदियों को,देता, वो धार है
ब्रज,वो कौन चित्रकार है

डॉ ब्रजभूषण मिश्र
भोपाल

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