काव्य भाषा : सतर्क भारत समृद्ध भारत -डॉ.अवधेश तिवारी “भावुक” दिल्ली

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सतर्क भारत,समृद्ध भारत

सतर्क भारत,समृद्ध भारत,
जन-गण-मन का सपना है,
स्वस्थ और खुशहाल राष्ट्र
भारत को अब बनना है।

हर बाधा , अवरोधों को
प्रगति पथ से हटाना है,
जिम्मेदार बना जन-मन को
उन्नति पथ पर बढ़ाना है।

क्षेत्र,जाति,मज़हब की बातों
को अब दूर ही रखना है,
सतर्क भारत, समृद्ध भारत,
जन-गण-मन का सपना है।

बहुसंख्यक लोगों का जीवन
घोर अभावों से भरा पड़ा,
मुट्ठी भर हाथों में सिमटा
है संसाधनों का भरा घड़ा।

भ्र्ष्टाचार और जनसंख्या पर
काबू अब करना है,
सतर्क भारत,समृद्ध भारत,
जन-गण-मन का सपना है।

सबको मिले,समान सुअवसर
सबको सम अधिकार मिले,
हर भारत वासी के चेहरे पर
निश्छल मुस्कान खिले।

जग में चमके भारत – भाल
“भावुक” कोशिश करना है,
सतर्क भारत,समृद्ध भारत,
जन-गण-मन का सपना है।

स्वस्थ और खुशहाल राष्ट्र
भारत को अब बनना है।

डॉ.अवधेश तिवारी “भावुक”
दिल्ली

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